रायपुर। मंगलवार को मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय की अध्यक्षता में मंत्रालय भवन में छत्तीसगढ़ कैबिनेट की बैठक आयोजित की गई। बैठक में राज्य के विकास और जनहित से जुड़े कई महत्वपूर्ण निर्णय लिए गए। इनमें राजनीतिक आंदोलनों के प्रकरणों की वापसी, हरित ऊर्जा शुल्क समाप्ति, और PDS में चना वितरण योजना प्रमुख हैं
मुख्य फैसले:
- 54 राजनीतिक प्रकरण होंगे वापस
- कैबिनेट ने विशुद्ध रूप से राजनीतिक आंदोलनों से संबंधित 54 मामलों को न्यायालय से वापस लेने का निर्णय लिया। यह फैसला जनहित को ध्यान में रखते हुए लिया गया है।
- PDS में चना वितरण को मंजूरी
- सार्वजनिक वितरण प्रणाली (PDS) के तहत पात्र हितग्राहियों को चना वितरण के लिए नागरिक आपूर्ति निगम को आवश्यक चना उपार्जन की अनुमति दी गई। यह प्रक्रिया NeML ई-ऑक्शन प्लेटफॉर्म के माध्यम से की जाएगी।
- कक्षा 5वीं और 8वीं की परीक्षा केंद्रीकृत होगी
- राज्य में पांचवीं और आठवीं कक्षाओं की परीक्षा अब केंद्रीकृत तरीके से आयोजित होगी। इसके लिए स्कूल शिक्षा विभाग को अधिकृत किया गया है।
- हरित ऊर्जा विकास शुल्क समाप्त
- जल विद्युत और ग्रीन एनर्जी को बढ़ावा देने के लिए हरित ऊर्जा विकास शुल्क समाप्त करने का फैसला लिया गया।
- पहले, हरित ऊर्जा पर प्रति मेगावाट 1 लाख रुपये वार्षिक शुल्क और हर पांच साल में 25% वृद्धि का प्रावधान था, जिसे खत्म कर दिया गया।
- किसानों को उन्नत बीज उपलब्ध होंगे
- भारत सरकार की नोडल सीड एजेंसी से सीधा बीज क्रय करने की अनुमति दी गई।
- छत्तीसगढ़ राज्य बीज एवं कृषि विकास निगम को क्रय नियमों में छूट प्रदान की गई।
- नेफेड और एनसीसीएफ एजेंसियां नियुक्त
- मक्का, चना, मसूर और सरसों की खरीदारी के लिए नेफेड और एनसीसीएफ को प्रोक्योरमेंट एजेंसी के रूप में नियुक्त किया गया।
- हुडको से 1 लाख करोड़ का वित्तीय सहयोग
- हुडको (Housing and Urban Development Corporation Limited) के साथ एक समझौता ज्ञापन (MoU) को मंजूरी दी गई।
- अगले पांच वर्षों में छत्तीसगढ़ को 1 लाख करोड़ रुपये तक की वित्तीय सहायता, परामर्श, और क्षमता विकास सेवाएं प्रदान की जाएंगी।
- हाउसिंग बोर्ड को राहत
- गृह निर्माण मंडल को फ्री-होल्ड किए गए आवासीय भूखंडों पर व्यपवर्तन शुल्क और अर्थदंड से छूट प्रदान की गई।
- इससे हाउसिंग बोर्ड के मकान खरीददारों को सीधा लाभ मिलेगा।