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दिल्ली में एनडीए मुख्यमंत्रियों की बैठक: ऑपरेशन सिंदूर पर चर्चा –

दिल्ली में एनडीए मुख्यमंत्रियों की बैठक: ऑपरेशन सिंदूर पर चर्चा -

नई दिल्ली :- प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आगामी 25 मई को राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (एनडीए) के सभी मुख्यमंत्री और उपमुख्यमंत्रियों की एक महत्वपूर्ण बैठक बुलाई है। इस उच्च-स्तरीय बैठक का आयोजन दिल्ली में किया जाएगा, जिसमें एनडीए के प्रमुख घटक दलों के शीर्ष नेताओं की उपस्थिति रहने की संभावना है।

इस महत्वपूर्ण सम्मेलन में बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री चंद्रबाबू नायडू जैसे प्रमुख नेता शामिल हो सकते हैं। इसके अतिरिक्त, महाराष्ट्र के राजनीतिक परिदृश्य के महत्वपूर्ण चेहरे, जैसे कि अजित पवार और एकनाथ शिंदे भी बैठक में अपनी उपस्थिति दर्ज करा सकते हैं।

बैठक के एजेंडे को लेकर अभी आधिकारिक तौर पर कोई विस्तृत जानकारी साझा नहीं की गई है, लेकिन माना जा रहा है कि इसमें वर्तमान राजनीतिक परिस्थितियों पर गहन विचार-विमर्श किया जाएगा। इसके अलावा, अटकलें लगाई जा रही हैं कि प्रधानमंत्री मोदी ऑपरेशन सिंदूर के संबंध में भी महत्वपूर्ण जानकारी साझा कर सकते हैं।

ऑपरेशन सिंदूर, जिसके बाद भारत और पाकिस्तान के बीच तनावपूर्ण स्थिति बनी और फिर सीजफायर हुआ, को लेकर कुछ हलकों में निराशा देखी गई है। भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) का शीर्ष नेतृत्व इस भावना से अवगत है और इस संदर्भ में अपने एनडीए सहयोगियों को विश्वास में लेने का प्रयास इस बैठक का एक महत्वपूर्ण उद्देश्य माना जा रहा है।

इस महत्वपूर्ण बैठक में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ-साथ केंद्र सरकार के वरिष्ठ मंत्री, जैसे कि राजनाथ सिंह और अमित शाह भी उपस्थित रहेंगे। यह संभावना जताई जा रही है कि ये वरिष्ठ नेता ऑपरेशन सिंदूर के विभिन्न पहलुओं पर अपने विचार और जानकारी साझा कर सकते हैं।

भाजपा का मुख्य उद्देश्य यह सुनिश्चित करना है कि ऑपरेशन सिंदूर को भारतीय सुरक्षा बलों की एक महत्वपूर्ण सफलता के रूप में प्रस्तुत किया जाए। प्रधानमंत्री मोदी ने इस संवेदनशील मामले में किसी भी प्रकार के राजनीतिक हस्तक्षेप से बचने की सख्त सलाह दी है। हाल ही में हुई कैबिनेट बैठक में उन्होंने अपने मंत्रियों से आग्रह किया था कि वे राजनीतिक मुद्दों पर सार्वजनिक टिप्पणी करने से बचें और ऑपरेशन सिंदूर से जुड़े सभी बयान पूरी तरह से सेना पर छोड़ दें, ताकि इसका कोई राजनीतिक लाभ न उठाया जा सके।

भाजपा के उच्च कमान ने पार्टी की सभी प्रदेश इकाइयों को स्पष्ट निर्देश जारी किए हैं कि वे ऑपरेशन सिंदूर का श्रेय लेने से बचें। प्रधानमंत्री मोदी किसी भी ऐसी गतिविधि से बचना चाहते हैं जिससे इस महत्वपूर्ण मुद्दे पर कोई राजनीतिक विवाद उत्पन्न हो। पार्टी कार्यकर्ताओं को स्पष्ट रूप से निर्देशित किया गया है कि उन्हें अपने बयानों में यह स्पष्ट करना चाहिए कि ऑपरेशन सिंदूर का प्राथमिक उद्देश्य सीमा पार आतंकवादी ठिकानों को नष्ट करना था, न कि पाकिस्तान के साथ किसी प्रकार का युद्ध छेड़ना। इसके अतिरिक्त, यह भी स्पष्ट किया जाना चाहिए कि भारतीय सेना ने जानबूझकर पाकिस्तानी सेना को लक्षित नहीं किया था, लेकिन जब पाकिस्तान की ओर से भारत पर हमले हुए, तो भारतीय सेना ने उसका मुंहतोड़ जवाब दिया। प्रधानमंत्री मोदी ने आदमपुर एयरबेस पर दिए अपने भाषण में भी इन्हीं बातों को दोहराया था।

यह बैठक एनडीए के घटक दलों के बीच समन्वय और आपसी विश्वास को मजबूत करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम माना जा रहा है। इसमें विभिन्न राजनीतिक और सुरक्षा संबंधी मुद्दों पर गहन चर्चा होने की संभावना है, जिसका असर आने वाले समय में राष्ट्रीय राजनीति पर भी देखने को मिल सकता है।

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