नक्सलियों ने जारी किया पर्चा, जवानों पर गंभीर आरोप
सुकमा में हाल ही में हुई मुठभेड़ को लेकर नक्सलियों ने एक पर्चा जारी किया है। दक्षिण बस्तर डिविजनल कमेटी की सचिव गंगा द्वारा जारी इस पर्चे में 29 नवंबर को सुकमा बंद का आह्वान किया गया है। पर्चे में नक्सलियों ने आरोप लगाया कि मुठभेड़ में मारे गए 10 लोगों में से केवल चार के पास हथियार थे, जबकि छह निहत्थे थे।
नक्सलियों का कहना है कि इनमें से दो लोग ग्रामीण थे, जिन्हें जवानों ने नक्सली बताकर मार दिया।
मुठभेड़: भेज्जी के जंगल में 10 नक्सलियों की मौत
सुकमा जिले के कोंटा ब्लॉक के भेज्जी इलाके में डीआरजी और सीआरपीएफ जवानों की टुकड़ी ने 22 नवंबर को नक्सलियों से मुठभेड़ की। इस मुठभेड़ में 10 नक्सली मारे गए, जिनके शव बरामद कर लिए गए हैं।
बरामद हथियार:
- इंसास राइफल
- एके-47 राइफल
- एसएलआर राइफल
जवानों को सूचना मिली थी कि नक्सली ओडिशा के रास्ते छत्तीसगढ़ में दाखिल हो रहे हैं। इसे रोकने के लिए सर्च ऑपरेशन चलाया गया, जिसके तहत मुठभेड़ हुई।
नक्सलियों का दावा: ग्रामीणों को नक्सली बताकर मारा गया
नक्सली प्रवक्ता का कहना है कि मुठभेड़ में मारे गए 10 लोगों में से दो ग्रामीण थे। नक्सलियों ने जवानों पर निहत्थे नक्सलियों की हत्या का आरोप लगाते हुए इसे गलत ठहराया।
29 नवंबर को सुकमा बंद का ऐलान
मुठभेड़ में मारे गए लोगों को लेकर नक्सलियों ने विरोध जताया और 29 नवंबर को सुकमा बंद का ऐलान किया।
जवानों का बयान
डीआरजी और सीआरपीएफ जवानों ने कहा कि मुठभेड़ के दौरान सभी 10 लोग नक्सली थे और घटनास्थल से बरामद हथियार इस बात का प्रमाण हैं।