देश

जस्टिस यशवंत वर्मा मामले में एफआईआर में देरी पर उपराष्ट्रपति धनखड़ ने उठाए सवाल, न्यायपालिका की पारदर्शिता पर जताई चिंता –

जस्टिस यशवंत वर्मा मामले में एफआईआर में देरी पर उपराष्ट्रपति धनखड़ ने उठाए सवाल, न्यायपालिका की पारदर्शिता पर जताई चिंता -

उपराष्ट्रपति – देश के उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ ने हाल ही में एक अहम मुद्दे पर अपनी चिंता जताई है। उन्होंने दिल्ली हाईकोर्ट के पूर्व न्यायाधीश यशवंत वर्मा के घर नकदी मिलने के मामले में एफआईआर दर्ज करने में हो रही देरी पर सवाल उठाए हैं। उन्होंने कहा कि इस तरह की गंभीर घटना के दो महीने बाद भी कोई स्पष्ट कानूनी कार्रवाई न होना न केवल न्याय व्यवस्था की पारदर्शिता पर प्रश्नचिह्न लगाता है, बल्कि जनता के विश्वास को भी प्रभावित करता है।

उपराष्ट्रपति ने स्पष्ट रूप से कहा कि यह मामला केवल एक व्यक्ति विशेष का नहीं, बल्कि पूरे न्यायिक ढांचे की साख से जुड़ा है। उन्होंने यह भी सवाल उठाया कि जब एक आम नागरिक के खिलाफ मामूली आरोप में भी त्वरित कार्रवाई होती है, तो फिर इस मामले में इतनी देरी क्यों हो रही है?

उन्होंने यह सुझाव भी दिया कि इस तरह के मामलों में वैज्ञानिक, फोरेंसिक और निष्पक्ष जांच होनी चाहिए ताकि कोई भी तथ्य छिपा न रह जाए और सच्चाई सामने आ सके। साथ ही उन्होंने न्यायाधीशों पर कार्रवाई से पहले अनुमति लेने की बाध्यता पर भी पुनर्विचार करने की आवश्यकता जताई, ताकि न्यायपालिका भी जवाबदेही के दायरे में आ सके।

धनखड़ ने यह भी कहा कि यह समय है जब न्याय प्रणाली को पारदर्शिता और उत्तरदायित्व के नए मानकों के अनुरूप ढालना चाहिए। इस मामले में उन्होंने संविधान की आत्मा और लोकतांत्रिक मूल्यों की रक्षा को सर्वोपरि बताया।

उनके बयान के बाद इस संवेदनशील मुद्दे पर नई बहस शुरू हो गई है और यह देखना दिलचस्प होगा कि न्यायपालिका व सरकार इस पर क्या रुख अपनाते हैं।

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button