छठ पूजा 2025: आस्था का महापर्व, आज डूबते सूर्य को अर्घ्य देंगी व्रती महिलाएं

रायपुर/बिलासपुर/दुर्ग। उत्तर भारत का लोक आस्था का महापर्व छठ पूजा आज (27 अक्टूबर 2025) अपने तीसरे और सबसे महत्वपूर्ण दिन में प्रवेश कर चुका है। चार दिवसीय इस कठिन अनुष्ठान में, व्रती महिलाएं और पुरुष आज शाम को भक्तिभाव से डूबते हुए सूर्य को अर्घ्य (संध्या अर्घ्य) देंगे।

इस महापर्व की शुरुआत ‘नहाय-खाय’ के साथ सात्विक भोजन ग्रहण करके हुई थी, जिसके बाद बीते दिन खरना के अनुष्ठान के साथ ही व्रतियों का तीन दिवसीय कठिन निर्जला व्रत प्रारंभ हो चुका है। आज के मुख्य अनुष्ठान के लिए घरों में विशेष तैयारियां की गई हैं। छठव्रतियों ने पारंपरिक तरीके से मिट्टी के चूल्हे तैयार किए हैं और प्रसाद बनाने के लिए गेहूं तथा चावल को धोकर सुखाया है। शाम होते ही सभी श्रद्धालु घाटों पर पहुंचकर भगवान सूर्यदेव की उपासना करेंगे।

छत्तीसगढ़ में भव्य तैयारियां

पर्व को लेकर छत्तीसगढ़ के रायपुर, बिलासपुर और दुर्ग सहित पूरे प्रदेश में व्यापक तैयारियां की गई हैं। राजधानी रायपुर का प्रसिद्ध महादेव घाट आकर्षक रूप से सजाया गया है, जहां हजारों की संख्या में श्रद्धालु उमड़ने वाले हैं। बिलासपुर में भी पूर्वा छठ घाट पर सुबह से ही भक्तों का आना शुरू हो गया है, पर्व को लेकर समिति द्वारा यहां व्यापक इंतजाम किए गए हैं।

दुर्ग जिले में भी उत्सव का माहौल है। भिलाई के 20 से अधिक और दुर्ग के 10 से अधिक तालाबों में व्रती आज शाम अर्घ्य देंगे। स्थानीय प्रशासन भी तैयारियों में जुटा है; कलेक्टर अभिजीत सिंह ने स्वयं घाटों का निरीक्षण कर साफ-सफाई और घाटों के रंग-रोगन का जायजा लिया है। खासकर सुपेला, छावनी, बैंकुठधाम और सेक्टर-2, सेक्टर-7 जैसे क्षेत्रों के तालाबों में विशेष रोशनी की व्यवस्था की गई है।

बाजारों में भी छठ पूजा की रौनक दिखाई दे रही है, जहां दौरा (बांस की टोकरी), सूप, मौसमी फल और पारंपरिक पूजा सामग्री की खूब बिक्री हो रही है।

कल होगा व्रत का समापन

डूबते सूर्य को अर्घ्य देने के बाद, व्रती रातभर जागरण करते हैं। यह कठिन व्रत मंगलवार की सुबह उगते सूर्यदेव को अर्घ्य देने और उनकी आराधना करने के बाद ही सफलतापूर्वक संपन्न होगा, जिसे पारण कहा जाता है। छठ का यह महापर्व सूर्योपासना, आस्था और लोक संस्कृति का अद्भुत संगम है।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *